Bihar Board Class 8 Hindi Solutions Chapter 14 पीपल

Bihar Board Class 8 Hindi Book Solutions Kislay Bhag 3 Chapter 14 पीपल Text Book Questions and Answers, Summary.

BSEB Bihar Board Class 8 Hindi Solutions Chapter 14 पीपल

Bihar Board Class 8 Hindi पीपल Text Book Questions and Answers

प्रश्न-अभ्यास

पाठ से

Class 8 Hindi Chapter 14 Bihar Board प्रश्न 1.
पीपल का पेड़ हमारे लिए किस प्रकार उपयोगी है ?
उत्तर:
पीपल का पेड़ हमारे लिए सदैव उपयोगी है । वह हमें शीतल छाया प्रदान करती है। पीपल का पेड़ प्राणियों के लिए प्राणवायु (ऑक्सीजन) छोड़ता है तथा हमारे द्वारा छोड़ा गया दूषित वायु को ग्रहण करता है।

Class 8 Sanskrit Chapter 14question Answer Bihar Board प्रश्न 2.
कैसा वातावरण मिलने पर बुल-बुल गाने लगती है।
उत्तर:
जब वर्षा ऋतु आती है तथा शीतल हवा का झोंका पाकर पत्ते हिलने लगते हैं तो बुलबुल का गाना भी सुनाई पड़ने लगता है।

Class 8 Hindi Chapter 14 Questions And Answers Bihar Board प्रश्न 3.
वन्य प्रान्त के सौंदर्य का वर्णन कीजिए।
उत्तर:
वन्य प्रांत का सौंदर्य दर्शनीय होता है। विविध प्रकार के पेड़, लताएँ, झरना, झील और नदियों से बना प्रांत की शोभा मारम होती है। चिड़ियों का कलरव, मोर का नाचना, हंस की क्रीड़ा ये सभी जंगल की शोभा की बढ़ाते रहते हैं।

पाठ से आगे

Ch 14 Hindi Class 8 Bihar Board प्रश्न 1.
निम्नलिखित पंक्तियों का भावार्थ लिखिए।

(क) ऊपर विस्तृत नभ नील-नील
नीचे वसुधा में नदी झील
जामुन, तमाल, इमली, करील
जल से ऊपर उठता मृणाल
फनगी पर खिलता कमल लाल

भावार्थ – वन प्रदेश में ऊपर नीले-नीले आकाश के नीचे धरती पर कहीं नदी तो कहीं झील हैं। जामुन आदि विविध प्रकार के पेड़ हैं। झील में लाल-लाल कमल खिले हैं जिससे वन प्रदेश की शोभा मनोरम हो रही है।

(ख) हैं खड़े जहाँ पर शाल, बांस
चौपाये चरते नरम घास
निर्झर, सरिता के आस-पास
रजनी भर रो-रोकर चकोर कर देता है रे रोज भोर
नाचा करते हैं जहाँ मोर।

भावार्थ – वन प्रदेश में जहाँ ऊँचे-ऊँचे शाल और बाँस के पेड़ हैं। वहाँ-वहाँ चौपाया जानवर चरते दिखते हैं । वन प्रदेश में नदी और झरने भी हैं। रात में चकोर की आवाज और दिन में मोर का नाच होते रहता है।

व्याकरण

Class 8 Hindi Pallav Bhag 3 Question Answer Bihar Board प्रश्न 1.
पाठ में आए योजक चिह्न वाले शब्दों को लिखिए।
उत्तर:

  1. युग-युग ।
  2. नील-नील ।
  3. बूंद-बूँद ।
  4. कलकल-छलछल ।
  5. ढल ढल-ढल-ढल ।
  6. गोल-गोल ।
  7. डोल-डोल ।
  8. जब-जब ।
  9. चुन-चुनकर ।
  10. हिल-डुल ।
  11. लख-लख ।
  12. सुन-सुन ।
  13. चह-चह ।
  14. बह-बह ।
  15. रह-रह ।
  16. कोटर-कोटर ।
  17. आस-पास ।
  18. चिर-आलिंगन।

Class 8 Hindi Lesson 14 Question Answer Bihar Board प्रश्न 2.
पर्यायवाची शब्द लिखिए
उत्तर:

  1. तरु-पेड़ ।
  2. कानन–जंगल ।
  3. सरिता-नदी ।
  4. वसुधा-धरती ।
  5. वयारहवा।

गतिविधि

Ch 14 Class 8 Hindi Bihar Board प्रश्न 1.
पीपल के वृक्ष का एक चित्र बनाइए, जिस पर विभिन्न प्रकार के पक्षी बैठे हों तथा पूरब दिशा में सूरज निकल रहा हो।
उत्तर:
छात्र स्वयं करें।

Bihar Board Solution Class 8 Hindi प्रश्न 2.
‘पेड़ों का महत्त्व’-इस विषय पर कक्षा में गोष्ठी का आयोजन कीजिए।
उत्तर:
छात्र स्वयं करें।

Class 8 Hindi Chapter 14question Answer Bihar Board प्रश्न 3.
वनस्पतियों का प्रयोग विभिन्न रोगों के इलाज हेतु औषधि के रूप में किया जाता है। उन वनस्पतियों की सूची इलाज की जानेवाली बीमारियों के साथ बनाइए, जैसेतुलसी का पत्ता-खाँसी
उत्तर:
छात्र स्वयं करें।

पीपल Summary in Hindi

कविता का सारांश-जंगल का श्रेष्ठ पेड़ पीपल युगों से अचल-अटल होकर स्थित है। उसके ऊपर नीले आकाश और नीचे धरती पर नदी-झील हैं। पीपल के चारों ओर जामुन, तमाल, इमली आदि के पेड़ हैं। पानी से निकला हुआ कमल के डंठल पर लाल-लाल, कमल खिले हैं। तालाब में तिर-तिर की आवाज करते हुए हंस क्रीड़ा कर रहे हैं।

ऊँचे पहाड़ के टीले से धरती पर झरना झर-झर की आवाज कर गिर रही है। वही झरना झरकर पानी का रूप ले लेता है। झरना के पास खड़ा पीपल झरना का कल-कल छल-छल की आवाज सुनते रहता है। पीपल के पत्ते ढल-ढल की आवाज करते. गिर रहे हैं। गोल-गोल पीपल का पत्ता डोल-डोलकर मानों कुछ कह रहा हो । पक्षियाँ पेड़ पर आते हैं और फल चुन-चुन कर खाते हैं।

‘जब वर्षा ऋतु की फुहार बरसने लगते हैं तो पंक्षियों का गायन आरम्भ हो जाता है। जब-जब शीतल हवा बहती है तब-तब कोमल पल्लव हिल इलकर सर्सर, मर्मर की मीठी आवाज करने लगते हैं। बल-बल भी पल्लव को गातें देख चह-चहाने लगते हैं। नदियाँ बहकर गाती रहती हैं। पीपल के पत्ते रह-रहकर हिलते रहते हैं। पेड़ में जितने ही खोखल हैं सब में पक्षी और गिलहरियों के घर हैं।

जब शाम होती है । सूरज अस्ताचल की ओर किरणें समेटकर चली जाती हैं सारा संसार सुना दिखाई पड़ने लगती है। अँधियाली संध्या को देख पक्षियाँ

अपने-अपने घोंसलें में आती हैं। लोग सोने लगते हैं । नींद में लोग रात बिता देते हैं। फिर प्रभात होती है। पूर्व दिन की भाँति फिर सभी पेड़-पौधे दिखाई पड़ने लगते हैं। चकोर जहाँ रात रो-रोकर बिताती है वही दिन में मयूर नाचते दिखते हैं । लताएँ एक-दूसरे से आलिंगन कर रही हैं। उनका यह आलिंगन चिर-आलिंगन है। पीपल के पेड़ के नीचे जब पथिक आते हैं तो अनायास उन्हें नींद आने लगती है।